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This section includes InterviewSolutions, each offering curated multiple-choice questions to sharpen your knowledge and support exam preparation. Choose a topic below to get started.
| 151. |
प्रकाशिक तंतु की कार्यप्रणाली ___ पर आधारित है। |
| Answer» पूर्ण आन्तरिक परावर्तन | |
| 152. |
लेंस से 45 सेमी की दूरी पर रखी सुई का प्रतिबिम्ब लेंस के दूसरी ओर 90 सेमी की दूरी पर रखे पर्दे पर बनता है। लेंस का प्रकार तथा फोकस-दूरी ज्ञात कीजिए। यदि सुई की लम्बाई 5 सेमी हो, तो प्रतिबिम्ब का आकार क्या होगा? |
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Answer» सूत्र - `1/f=1/v-1/u` दिया है - u =-45 सेमी, v=90 सेमी सूत्र में मान रखने पर , `1/f=1/90-1/(-45)=1/90+1/45` या `1/f=(1+2)/90=3/90 =1/30` या f=+30 सेमी । चूँकि फोकस-दूरी धनात्मक है , लेंस उत्तल लेंस होगा । पुन: सूत्र - `m=I/O=v/u` में मान रखने पर , या `I/5=90/(-45)` `I=(-90)/45xx5`=-10 सेमी |
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| 153. |
वर्णित दूरबीन के लिए अभिदृश्यक लेंस तथा नेत्रिका के बीच पृथकन दूरी क्या है ? |
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Answer» चूँकि अंतिम प्रतिबिंब अनंत पर बनता है अतः अभिदृश्यक एवं नेत्रिका के मध्य की दूरी `=f_o +f_e`=140+5 =145 सेमी |
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| 154. |
प्रकाश के तरंगदैर्घ्य को ___ कर सूक्ष्मदर्शी की विभेदन क्षमता बढ़ाई जा सकती है। |
| Answer» Correct Answer - घटा | |
| 155. |
पार्थिव दूरदर्शी की लम्बाई खगोलीय दूरदर्शी की लम्बाई से ___ होती है। |
| Answer» Correct Answer - अधिक | |
| 156. |
खगोलीय दूरदर्शी में अंतिम प्रतिबिम्ब उल्टा और ____ बनता है। |
| Answer» Correct Answer - आभासी | |
| 157. |
संयुक्त सू्ष्मदर्शी में अंतिम प्रतिबिम्ब उल्टा, __ और बड़ा बनता है। |
| Answer» Correct Answer - आभासी | |
| 158. |
यदि अंतिम प्रतिबिंब 25 सेमी दूर बनता है तो अंतिम प्रतिबिंब में मीनार की ऊँचाई क्या है ? |
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Answer» नेत्रिका द्वारा कोणीय आवर्धन = `1+D/(f_e)=1+25/5=6` अंतिम प्रतिबिंब में मीनार=6h `=6 xx 4.7` =28.2 सेमी |
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| 159. |
यदि इस दूरबीन का उपयोग 3 किमी. दूर स्थित 100 मी. ऊँची मीनार को देखने के लिए किया जाता है तो अभिदृश्यक द्वारा बने मीनार के प्रतिबिंब की ऊँचाई क्या है ? f_o=140 सेमी |
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Answer» `alpha ="टावर की ऊँचाई"/" टावर से दूरी"=100/3000=1/30` यदि h अभिदृश्यक लेंस से बने प्रतिबिंब का आकार है, तो `alpha = h/(f_o)=h/140` `therefore h/140=1/30` `rArr h=140/3=4.7 `सेमी |
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| 160. |
किसी कैसेग्रेन दूरबीन में चित्र में दर्शाए अनुसार दो दर्पणों का प्रयोग किया गया है । इस दूरबीन में दोनों दर्पण एक-दूसरे से 20 मिमी. दूर रखे गए हैं । यदि बड़े दर्पण की वक्रता त्रिज्या 220 मिमी. हो तथा छोटे दर्पण की वक्रता त्रिज्या 140 मिमी. हो तो अनंत पर रखे किसी बिंब का अंतिम प्रतिबिंब कहाँ बनेगा ? |
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Answer» `f_o=220/2=110` मिमी . [`because f=R/2`] यदि वस्तु अनंत पर है तब प्रतिबिंब 110 मिमी. पर बनेगा। यह प्रतिबिंब द्वितीयक दर्पणं के लिए आभासी वस्तु का कार्य करेगा। u=110-20=90 मिमी `therefore f_s=140/2=70` मिमी दर्पण के सूत्र से `1/v=1/f_s-1/u` `1/v=1/70-1/90=1/315` v=315 मिमी |
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| 161. |
एक अवतल दर्पण की वक्रता त्रिज्या 40 सेमी है। एक वस्तु की स्थिति ज्ञात कीजिए जबकि उसके प्रतिबिम्ब का आवर्धन 4 है। प्रतिबिम्ब की स्थिति ज्ञात कीजिए। |
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Answer» Correct Answer - 25 सेमी वास्तविक प्रतिबिंब के लिए , 15 सेमी आभासी प्रतिबिम्ब के लिए m=-4 (वास्तविक प्रतिबिम्ब ) , f=-20 सेमी `m=(-v)/u` `rArr -4=(-v)/u` या v=4u `1/f=1/(4u)+1/u` `-1/20=(1+4)/(4u)` या 4u=-100 या u=-25 सेमी तथा v=-100 सेमी m=4 (आभासी प्रतिबिम्ब) `therefore 4=-v/u` या v=-4u `1/f=1/v+1/u` `-1/20=-1/(4u)+1/u=(-1+4)/(4u)` 4u= -60 सेमी u=-15 सेमी v=60 सेमी |
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| 162. |
एक प्रकाश पुंज बिन्दु P पर अभिसरित होती है। बिन्दु P से 12 सेमी की दूरी पर अभिसरित पुंज के मार्ग में एक लेंस रख दिया जाता है। किस बिन्दु पर पुंज अभिसरित होगी ? यदि लेंस उत्तल लेंस हो तथा उसकी फोकस-दूरी 20 सेमी हो। |
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Answer» सूत्र - `1/f=1/v-1/u` उत्तल लेंस के लिए f = +20 सेमी , u =+12 सेमी (प्रकाश की दिशा में वस्तु की दूरी ) । सूत्र में मान रखने पर , `1/20=1/v-1/12` `1/v=1/20+1/12 =(3+5)/60=8/60` `therefore v=60/8`=+7.5 सेमी | अतः P की ओर 7.5 सेमी की दूरी पर पुंज अभिसरित होगी । |
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| 163. |
कोई वस्तु 15 सेमी. वक्रता त्रिज्या के अवतल दर्पण से 10 सेमी. दूरी पर रखी है, प्रत्येक स्थिति में प्रतिबिम्ब की स्थिति, प्रकृति तथा आवर्धन की गणना कीजिए। |
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Answer» दिया है - R=-15 सेमी, `f=R/2` `rArr f=(-15)/2=-7.5` सेमी. वस्तु की दूरी u = - 10 सेमी . दर्पण के सूत्र से , `1/f=1/u+1/v` या `1/v=1/f-1/u` `=1/"-7.5"-1/"-10"` `1/v=1/10-1/7.5` v=-30 सेमी चूँकि v ऋणात्मक है अतः प्रतिबिम्ब वास्तविक , उल्टा तथा वस्तु की ओर बनेगा । आवर्धन `m=-v/u=-"(-30)"/"(-10)"=-3` अर्थात प्रतिबिम्ब आवर्धित हुआ है । |
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| 164. |
15 सेमी फोकस-दूरी के अवतल दर्पण के सामने 60 सेमी की दूरी पर एक वस्तु रखी है। प्रतिबिम्ब की स्थिति एवं प्रकृति ज्ञात कीजिए। |
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Answer» Correct Answer - 20 सेमी (दर्पण के आगे ) वास्तविक f=-15 सेमी , u=-60 सेमी सूत्र - `1/f=1/u+1/v` `=1/(-15)-1/(-16)` `=-1/15+1/60=(-4+1)/60` या `1/v=(-3)/60=(-1)/20` या v=-20 सेमी , F व C के मध्य दर्पण के सामने वास्तविक प्रतिबिम्ब प्राप्त होगा । |
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| 165. |
संलग्न चित्र में AB एक लेंस को व्यक्त है। बताइए यह कौन-सा लेंस है ? |
| Answer» अवतल लेंस, क्योंकि यह प्रकाश किरणों को अपसरित करता है। | |
| 166. |
एक अवतल लेंस की फोकस-दूरी 15 सेमी है। इस लेंस से 10 सेमी की दूरी पर रखी वस्तु के प्रतिबिम्ब की स्थिति एवं प्रकृति बताइए। |
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Answer» Correct Answer - 6 सेमी वस्तु की ओर , आभासी , सीधा व छोटा f=-15 सेमी , u=-10 सेमी, v=? `1/f=1/v-1/u rArr 1/v=1/f+1/u` `1/v=-1/15-1/10 = (-10-15)/150` या `1/v=(-25)/150` या v=-6 सेमी । प्रतिबिम्ब आभासी एवं सीधा होगा । |
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| 167. |
एक प्रकाश पुंज बिन्दु P पर अभिसरित होती है। बिन्दु P से 12 सेमी की दूरी पर अभिसरित पुंज के मार्ग में एक लेंस रख दिया जाता है। किस बिन्दु पर पुंज अभिसरित होगी ? यदि लेंस अवतल लेंस हो तथा उसकी फोकस-दूरी 16 सेमी है |
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Answer» सूत्र - `1/f=1/v-1/u` अवतल लेंस के लिए f = -16 सेमी , सूत्र में मान रखने पर , `(-1)/16=1/v-1/12` `1/v=-1/16+1/12 =(-3+4)/48=1/48` `therefore` v=48 सेमी अतः P की ओर 48 सेमी की दूरी पर पुंज अभिसरित होगी । |
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| 168. |
एक अवतल लेंस की फोकस-दूरी 21 सेमी है। उससे 14 सेमी की दूरी पर 3 सेमी लम्बी वस्तु रखी है। प्रतिबिम्ब की स्थिति, आकार तथा प्रकृति ज्ञात कीजिए। यदि वस्तु को लेंस से दूर हटाया जाए तो क्या होगा? |
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Answer» दिया है - f=-21 सेमी , u =-14 सेमी , O=3 सेमी सूत्र - `1/f=1/v=1/u` में मान रखने पर , `=1(-21)=1/v+1/14` `1/v=-1/21-1/14=(-2-3)/42=(-5)/42` `therefore v=(-42)/5` =-8.4 सेमी अतः प्रतिबिम्ब वस्तु की ओर ही लेंस से 8.4 सेमी की दूरी पर बनेगा तथा आभासी होगा । पुन सूत्र - `I/O=v/u` में मान रखने पर , `I/3=(-8.4)/(-14)` `I=(8.4xx3)/(14)=1.8` सेमी यदि वस्तु को लेंस से दूर हटाया जाए तो प्रतिबिम्ब फोकस की ओर हटता जाता है (किन्तु फोकस से बाहर कभी नहीं) तथा उसका आकार छोटा होता जाता है। |
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| 169. |
संलग्न चित्र में AB एक लेंस है। बताइए यह कौन-सा लेंस है ? |
| Answer» उत्तल लेंस, क्योंकि यह प्रकाश किरणों को अभिसरित करता है। | |
| 170. |
एक अवतल दर्पण की वक्रता त्रिज्या 20 सेमी है। उसके सामने 15 सेमी की दूरी पर 5 सेमी लम्बी वस्तु रखी है रेखाचित्र बनाइये तथा प्रतिबिम्ब की स्थिति एवं उसकी लम्बाई की गणना कीजिए। |
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Answer» Correct Answer - 30 सेमी (दर्पण के सामने ) , 10 सेमी `f=(-20)/2=-10` सेमी , D=5 सेमी , u=-15 सेमी सूत्र - `1/f=1/u+1/v` `1/v=1/f-1/u` `1/v=-1/10- 1/(-15)` `=(-1)/10+1/15` `1/v=(-3+2)/30` v=-30 सेमी `therefore I/O=-v/u` `I=Oxx(-v/u)=5xx(30/15)` I=10 सेमी |
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| 171. |
2 सेमी लम्बी वस्तु उत्तल लेंस के सामने 2f दूरी पर रखी प्रतिबिम्ब की लम्बाई कितनी होगी ? |
| Answer» Correct Answer - 2 सेमी। | |
| 172. |
कोई वस्तु अवतल लेंस के फोकस पर स्थित है। प्रतिबम्ब अनंत पर बनेगा या नहीं? |
| Answer» नहीं, प्रतिबिम्ब फोकस और प्रकाश-केन्द्र के बीच बनेगा, अवतल लेंस प्रकाश किरणों को फैलाता है। | |
| 173. |
यदि लेंस का द्वारक बढ़ा दिया जाये तो प्रतिबिम्ब की स्थिति पर क्या प्रभाव पड़ेगा ? |
| Answer» कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। | |
| 174. |
यदि दूरदर्शी से दूर स्थित वस्तु को देखते समय अभिदृश्यक पर मक्खी बैठ जाये तो वस्तु के प्रतिबिम्ब पर क्या प्रभाव पड़ेगा? |
| Answer» अभिदृश्यक पर मक्खी बैठ जाने के कारण अभिदृश्यक से गुजरने वाले प्रकाश की मात्रा कम हो जायेगी जिससे प्रतिबिम्ब की तीव्रता कम हो जायेगी, किन्तु मक्खी दिखाई नहीं देगी। | |
| 175. |
दूरदर्शी का अभिदृश्यक बड़ा तथा नेत्रिका छोटी होती है। इसके विपरीत सूक्ष्मदर्शी का अभिदृश्यक छोटा तथा पत्रिका बड़ी होती है। यदि किसी दूरदर्शी को उलट दें तो क्या वह सूक्ष्मदर्शी की तरह कार्य करेगा? क्या इसका विपरीत सम्भव है ? |
| Answer» दूरदर्शी की दोनों लेंसों की फोकस दूरियों में बहुत अधिक अन्तर होता है जबकि सूक्ष्मदर्शी की दोनों लेंसों की फोकस दूरियों में बहुत कम अन्तर होता है। अत: दूरदर्शी को उलटने पर वह सूक्ष्मदर्शी की तरह कार्य नहीं करेगा। ठीक इसी तरह सूक्ष्मदर्शी को उलटने पर वह दूरदर्शी की तरह कार्य नहीं करेगा। | |
| 176. |
यदि एक उत्तल लेंस के केन्द्रीय भाग को काले कागज से लपेट दिया जाये तोA. वस्तु के दो प्रतिबिम्ब बनेंगे, एक ऊपरी भाग में और दूसरा निचले भाग मेंB. प्रतिबिम्ब का मध्य भाग अदृश्य रहेगाC. प्रतिबिम्ब वैसा ही बनेगा किन्तु तीव्रता कम रहेगीD. कोई प्रतिबिम्ब नहीं बनेगा। |
| Answer» Correct Answer - C | |
| 177. |
एक वस्तु दो समान्तर दर्पणों के बीच रखी गई है। उत्तरोत्तर परावर्तन के कारण उसके कई प्रतिबिम्ब बनते हैं। दूर बनने वाले प्रतिबिम्बों की तीव्रता घटती जाती है। क्यों? |
| Answer» प्रत्येक परावर्तन में प्रकाश का कुछ भाग अवशोषित हो जाता है। अत: दूर बनने वाले प्रतिबिम्बों की तीव्रता घटती जाती है। | |
| 178. |
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी द्वारा देखते समय सर्वोत्तम दर्शन के लिए हमारे नेत्र, नेत्रिका पर स्थित न होकर उससे कुछ दूरी पर होनी चाहिए। क्यों ? नेत्र तथा नेत्रिका के बीच की यह अल्प दूरी कितनी होनी चाहिए ? |
| Answer» यदि हम अपनी आँख को नेत्रिका के अत्यंत निकट रखेंगे तो आँख पर पर्याप्त प्रकाश पड़ने के कारण दृष्टि क्षेत्र घटेगा। यही कारण है कि हम अपनी आँखों को नेत्रिका से अल्प दूरी पर रखते हैं जिससे नेत्रिका से अपवर्तित प्रकाश के अधिक होने पर दृष्टि क्षेत्र बढ़ जायेगा। | |
| 179. |
एक उत्तल लेंस जिसकी फोकस-दूरी 1 मीटर है, 1 मीटर फोकस-दूरी वाले अवतल लेंस के सम्पर्क में रखा गया है। संयुक्त लेंस की क्षमता क्या होगी? |
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Answer» `P=P_1-P_2` `therefore P_1=P_2` `therefore ` P=0 |
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| 180. |
जब लहरदार समुद्र के परावर्तन के कारण चन्द्रमा को देखते हैं तो वह कुछ लंबा-सा प्रतीत होता है क्यों ? |
| Answer» प्रकाश के विसरित परावर्तन के कारण | |
| 181. |
सर्च लाइट में प्रयुक्त होता हैA. उत्तल दर्पणB. गोलीय अवतल दर्पणC. परवलयाकार अवतल दर्पणD. परवलयाकार उत्तल दर्पण। |
| Answer» Correct Answer - C | |
| 182. |
एक दूरदर्शी की आवर्धन-क्षमता 9 है। जब इसे समान्तर किरणों के लिए सम्मानित किया जाता है तब नेत्रिका और अभिदृश्यक के बीच की दूरी 20 सेमी होती है। दोनों लेंसों की फोकस-दूरियाँ ज्ञात कीजिए। |
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Answer» सूत्र : `m=-f_o/f_e` तथा दूरदर्शी की नली की लम्बाई = अभिदृश्यक और पत्रिका के बीच की दूरी = ` f_o + f_e` दिया है : m=-9 तथा `f_o+f_e`=20 `9f_e +f_e`=20 `rArr 10 f_e =20` या `f_e`=2 सेमी उपरोक्त मान को समी (1 ) में रखने पर `f_o =mxx(-f_e)` =-9 x (-2) = 18 सेमी |
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| 183. |
सर्च लाइट में प्रयुक्त दर्पण परवलयाकार (Parabolic) होता है, अवतल गोलाकार नहीं। क्यों ? |
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Answer» सर्च लाइट में प्रकाश की चौड़ी किरण-पुंज की आवश्यकता होती है। यदि अवतल गोलाकार दर्पण के फोकस पर एक प्रकाश स्रोत रख दिया जाये तो उसके मुख्य अक्ष के पास से परावर्तित किरणें ही मुख्य अक्ष के समान्तर हो पाती हैं, मुख्य अक्ष के दूर से परावर्तित किरणें समान्तर नहीं होती। अत: तीव्र तथा चौड़ी किरण-पुंज प्राप्त नहीं होती। परवलयाकार दर्पण में उसके फोकस पर रखे प्रकाश स्रोत से चलकर परावर्तित होने वाली समस्त किरणें एक-दूसरे के समान्तर होती हैं। इस प्रकार तीव्र और चौड़े परिच्छेद की प्रकाश-पुंज प्राप्त हो जाती है। |
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| 184. |
मोटर वाहनों में पीछे के ट्रैफिक देखने के लिए कौन-सा दर्पण प्रयुक्त किया जाता है और क्यों ? |
| Answer» उत्तल दर्पण। उत्तल दर्पण द्वारा किसी वस्तु का प्रतिबिम्ब आभासी, सीधा और छोटा बनता है। अत: मोटर वाहनों के पीछे के विस्तृत क्षेत्र का छोटा और सीधा प्रतिबिम्ब उत्तल दर्पण में देखा जा सकता है। | |
| 185. |
आपने सीखा है कि समतल तथा उत्तल दर्पण सदैव आभासी प्रतिबिम्ब बनाते हैं। क्या वे दर्पण किन्हीं परिस्थितियों में वास्तविक प्रतिबिम्ब बना सकते हैं ? स्पष्ट कीजिए। |
| Answer» हाँ, समतल दर्पण तथा उत्तल दर्पण वास्तविक प्रतिबिम्ब बना सकते हैं यदि वस्तु आभासी हो। | |
| 186. |
आपतित किरण की दिशा को स्थिर रखकर समतल दर्पण को `theta` कोण से घुमाया जाता है तो परावर्तित किरण कितने कोण से घूम जायेगी? |
| Answer» Correct Answer - `2theta` | |
| 187. |
समतल दर्पण की ओर 5 सेमी प्रति सेकण्ड के वेग से आ रहा है। आपका प्रतिबिम्ब आपकी ओर किस वेग से आ रहा है ? |
| Answer» Correct Answer - 10 सेमी , सेकंड | |
| 188. |
प्रिज्म में से गुजरने पर श्वेत प्रकाश में विक्षेपण क्यों होता है ? |
| Answer» श्वेत प्रकाश के विभिन्न रंगों के लिए प्रिज्म के पदार्थ का अपवर्तनांक भिन्न-भिन्न होता है जिससे प्रिज्म से गुजरने पर इन रंगों का विभिन्न दिशाओं में विचलन भी भिन्न होता है। | |
| 189. |
एक समतल दर्पण में 1.5 मीटर ऊँचा व्यक्ति अपना पूरा प्रतिबिम्ब देखना चाहता है। समतल दर्पण की न्यूनतम लम्बाई बताइये। |
| Answer» Correct Answer - 75 सेमी | |
| 190. |
एक प्रिज्म में से जिसका कोण `5^@` है, श्वेत प्रकाश निगमन किया जाता है। यदि लाल व नीले रंग की किरणों के लिए अपवर्तनांक 1.641 तथा 1.659 हो, तो दोनों रंगों के बीच वर्ण-विक्षेपण कोण ज्ञात कीजिए। |
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Answer» Correct Answer - `0.09^@` `theta=A(mu_B-mu_r)` `theta=5^@(1.659-1.641)=0.09^@` |
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| 191. |
किसी पारदर्शी माध्यम का अपवर्तनांक आपतित प्रकाश के तरंगदैर्घ्य पर कैसे निर्भर करता है ? |
| Answer» पारदर्शी माध्यम का अपवर्तनांक प्रकाश के तरंगदैर्घ्य में वृद्धि के साथ घटता है संबंध `mu=a+b/lambda^2+c/lambda^4` जहाँ a,b,c क्रमश: नियतांक है। | |
| 192. |
बैंगनी रंग के प्रकाश के लिए प्रिज्म के पदार्थ का अपवर्तनांक 1.659 है। यदि प्रिज्म का कोण `10^@` तथा सम्पूर्ण वर्ण-विक्षेपण `0.18^@` हो, तो लाल रंग के प्रकाश के लिए प्रिज्म के पदार्थ का अपवर्तनांक ज्ञात कीजिए। |
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Answer» Correct Answer - 1.641 `mu_v-mu_r= theta/A` `mu_v=mu_r-theta/A` `=1.659-0.18^@/10`=1.641 |
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| 193. |
एक व्यक्ति 6 मीटर/सेकण्ड की चाल से दर्पण से दूर जा रहा है। व्यक्ति के सापेक्ष इसके प्रतिबिम्ब की चाल क्या होगी? |
| Answer» 6-(-6)=12 मीटर/सेकंड | |
| 194. |
बैंगनी और लाल रंग के अपवर्तनांक 1.54 और 1.52 हैं । प्रिज्म के पदार्थ की वर्ण-विक्षेपण क्षमता क्या होगी ? |
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Answer» Correct Answer - 0.037 `omega=(mu_v-mu_r)/(mu_y-1)=(1.54-1.52)/(1.53-1)=0.037` |
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| 195. |
एक पदार्थ के लिए लाल, बैंगनी और पीले रंग के प्रकाश के अपवर्तनांक 1.52,1.64 और 1.60 हैं। पदार्थ की वर्ण-विक्षेपण क्षमता क्या होगी ? |
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Answer» Correct Answer - 0.2 `omega=(mu_v-mu_r)/(mu_y-1)=(1.64-1.52)/(1.60-1)=0.2` |
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| 196. |
किस रंग के प्रकाश के लिए किसी पारदर्शी माध्यम का अपवर्तनांक सबसे अधिक होता है? |
| Answer» Correct Answer - बैगनी रंग के लिए | |
| 197. |
बैंगनी और लाल रंग के प्रकाश के लिए फ्लिण्ट-काँच के अपवर्तनांक क्रमश: 1.659 और 1.641 हैं। फ्लिण्ट-काँच की वर्ण-विक्षेपण क्षमता ज्ञात कीजिए। |
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Answer» सूत्र - `omega=(mu_v-mu_r)/(mu_y-1)` दिया है : `mu_v=1.659 , mu_r=1.641` `mu_y=(1.659+1.641)/2=3.300/2=1.65` सूत्र में मान रखने पर , `omega=(1.659-1.641)/(1.65-1)=0.018/0.65`=0.028 |
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| 198. |
यदि लाल, पीले और बैंगनी रंग के लिए फ्लिण्ट-काँच के अपवर्तनांक क्रमशः 1.6434,1.6499 और 1.6852 हों, तो फ्लिण्ट-काँच की वर्ण-विक्षेपण क्षमता ज्ञात कीजिए। |
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Answer» सूत्र - `omega=(mu_v-mu_u)/(mu_y-1)` दिया है : `mu_v=1.6852 , mu_y=1.6499` तथा `mu_r`=1.6434 सूत्र में मान रखने पर , `omega=(1.6852-1.6434)/(1.6499-1)=0.0418/0.6499`=0.064 |
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| 199. |
क्रॉउन-काँच तथा फ्लिण्ट-काँच में से किसका अपवर्तनांक कम होता है ? |
| Answer» Correct Answer - क्रॉउन-काँच | |
| 200. |
एक पतले लेंस के लिए अनुदैर्ध्य वर्ण-विपथन का मान कितना होता है ? |
| Answer» Correct Answer - `omegaf` | |