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"अहं पुस्तकं पठामि" अस्य वाकस्य वाच्यपरिवर्तन भवति-1. अहं पुस्तकं पठ्यते2. मया पुस्तकं पठामि3. मया पुस्तकानि पठामि4. मया पुस्तकं पठ्यते5.

Answer» Correct Answer - Option 4 : मया पुस्तकं पठ्यते

प्रश्नानुवाद  "मैं पुस्तक पढता हूँ" इस वाक्य का वाच्यपरिवर्तन होता है -

स्पष्टीकरण  "मैं पुस्तक पढता हूँ" इस वाक्य का वाच्यपरिवर्तन होगा  मया पुस्तकं पठ्यते अर्थात् मेरेद्वारा पुस्तक पढा जा रहा है। 

"अहं पुस्तकं पठामि" यह कर्तृवाच्य वाक्य है। वाच्यपरिवर्तन करने पर "मया पुस्तकं पठ्यते" यह वाक्य कर्मवाच्य वाक्य होगा।

कर्तृवाच्यकर्मवाच्य​
1. कर्तृवाच्य वाक्य में क्रियापद द्वारा कर्तृपद का बोध होता है। 

1. कर्मवाच्य वाक्य में क्रियापद द्वारा कर्मपद का बोध होता है।

2. कर्तृवाच्य वाक्य में कर्तृपद प्रथमा विभक्ति में, कर्मपद द्वितीया विभक्ति में और क्रियापद कर्तृपद के अनुसार होता है अर्थात् यदि कर्तृपद परिवर्तित होता है तो क्रियापद में भी परिवर्तन किया जाता है। यथा  रामः पुस्तकं पठति, अहं पुस्तकं पठामि, त्वं पुस्तकं पठसि।

2. कर्मवाच्य वाक्य में कर्तृपद तृतीया विभक्ति में, कर्मपद प्रथमा विभक्ति में और क्रियापद कर्मपद के अनुसार होता है अर्थात् यदि कर्मपद परिवर्तित होता है तो क्रियापद में भी परिवर्तन किया जाता है। यथा  रामेण पुस्तकं पठ्यते, मया पुस्तकानि पठ्यन्ते, युवाभ्याम् पुस्तके पठ्येते।

3. कर्तृवाच्य वाक्य में क्रियापद सामान्य नियमानुसार बनता है, अर्थात् यदि धातु परस्मैपदी है तो परस्मैपदी प्रत्यय लगते है और यदि धातु आत्मनेपदी है तो आत्मनेपदी प्रत्यय लगते है। पुरुष और वचन कर्तृपद के अनुसार निश्चित होता है।3. कर्मवाच्य वाक्य में क्रियापद में धातु को नित्य आत्मनेपदी प्रत्यय जुडते है। प्रत्यय जुडने से पूर्व य विकरण लगता है। पुरुष और वचन कर्मपद के अनुसार निश्चित होता है।

उपरोक्त वाक्य का वाच्यपरिवर्तन 

 कर्तृवाच्यकर्मवाच्य​
कर्तृपद अहं (अस्मद् उत्तमपुरुषी सर्वनाम का प्रथमा विभक्ति एकवचन रूप) मया (अस्मद् उत्तमपुरुषी सर्वनाम का तृतीया विभक्ति एकवचन​)
कर्मपद पुस्तकं (पुस्तकम् नपुंसकलिंगी नाम का द्वितीया विभक्ति एकवचन रूप​) 

पुस्तकं (पुस्तकम् नपुंसकलिंगी नाम का प्रथमा विभक्ति एकवचन रूप)

क्रियापद पठति (पठ् + अ + ति <परस्मैपदी प्रथमपुरुषी एकवचनी प्रत्यय​>) 

पठ्यते (पठ् + य + ते <आत्मनेपदी प्रथमपुरुषी एकवचनी प्रत्यय​>)

अतः उपरोक्त तालिकाओं से स्पष्ट होता है, "मया पुस्तकं पठ्यते" यह उचित उत्तर है।

अन्य विकल्प → 

  • अहं पुस्तकं पठ्यते  इस वाक्य में कर्तृपद परिवर्तित नही किया है।
  • मया पुस्तकं पठामि  इस वाक्य में क्रियापद कर्मपद के अनुसार नही है।
  • मया पुस्तकानि पठामि  वाच्यपरिवर्तन करते समय जो वचन है कर्तृवाच्य वाक्य में है वही कर्मवाच्य वाक्य में होना चाहिए। प्रस्तुत वाक्य में कर्मपद बहुवचन में प्रयुक्त है, जो अनुचित है क्योंकि कर्तृवाच्य वाक्य में तो एकवचनी कर्मपद का प्रयोग किया है। इसके साथ - साथ क्रियापद भी कर्मवाच्य वाक्य के नियमानुसार नही है।


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